छत्तीसगढ़ में पढ़ाई के नए मॉडल की शुरुआत -अब लाउडस्पीकर से पढ़ाएंगे शिक्षक
कोरोना के कारण सभी स्कूल और कालेज अभी बंद है ,जिसके कारण शिक्षक अपने घर से ही ऑनलाइन क्लास के माध्यम से बच्चों को शिक्षा दे रहे है ,और प्रतिदिन नियमित रूप से ऑनलाइन क्लास का सञ्चालन हो रहा है। इसी बीच पढ़ाई के नए मॉडल की शुरुआत किया जा रहा है।
पढ़ाई के नए मॉडल के तहत अब शिक्षक लाउडस्पीकर माध्यम से बच्चों को पढ़ाएंगे ,इसकी शुरुआत बस्तर से हो गयी है। इसके लिए पंचायत को लाउडस्पीकर की व्यवस्था करने के लिए कहा गया है।
आपको बता दें कि लाउडस्पीकर मॉडल के माध्यम से पढ़ाने की शुरुआत बस्तर के 11 पंचायतों से की गयी थी। अब इस मॉडल से पढ़ाई कराने वाले पंचायतों की संख्या 56 हो गयी है।
शिक्षामंत्री ने दी लाउडस्पीकर मॉडल की अनुमति
शिक्षा मंत्री ने छग में चल रहे ऑनलाइन पढ़ाई का सफल सञ्चालन करने वाले शिक्षकों की तारीफ करते हुए कहा कि ये हमारे शिक्षकों के ककारण ही संभव हो पाया है कि -कोरोना के इस संकट काल में भी बच्चों की शिक्षा निरंतर चल रही है।
उन्होंने कहा कि शिक्षकों ऑनलाइन साथ ऑफलाइन पढ़ाई के भी कई मॉडल बनायें है ,और उन मॉडलों के माध्यम बच्चों को अच्छी शिक्षा मिल रही है। इसी के अंतर्गत लाउडस्पीकर मॉडल भी है जिसे शिक्षकों ने ही तैयार किया है और उसका सञ्चालन भी शुरू कर।
क्या है लाउडस्पीकर मॉडल
लाउडस्पीकर मॉडल पढ़ाई की वह तकनीक है जिसके माध्यम से शिक्षक एक लाउडस्पीकर माध्यम से पाठ या अन्य पाठ्यसामग्री का वाचन करत्ता है और बच्चे अपने घर में रहकर या किसी जगह में समूह बनाकर बैठ कर सुनते है।
इस मॉडल से पढ़ाई की शुरुआत प्रतिदिन राजीगीत से की जाती है। लाउडस्पीकर माध्यम से बच्चों को विभिन्न कार्य भी दिए जाये है। जिसे बच्चे अपने घर में रहकर करते है।
सभी जिलों में शुरू करने की तैयारी
स्कूल शिक्षा मंत्री प्रेम साय सिंह टेकाम बस्तर के शिक्षकों की इस नवाचार के काफी प्रभावित हुए है ,और शिक्षकों की तारीफ भी किये है। उन्होंने अन्य जिलों से भी अपील किये है की वे अपने जिले के प्रत्येक पंचायत में कम से कम स्कूल नए मॉडल से शुरू करें।
पंचायतों को निर्देश दिया गया है कि वे एक हफ्ते के भीतर लाउडस्पीकर की व्यवस्था करके इच्छुक शिक्षक और ग्राम के नागरिकों की सहयोग से पढाई शुरू करें।
छग में 10 हजार पंचायतें है
आपको बता दें कि बस्तर में 11 पंचायतों में इस मॉडल से पढ़ाई की शुरुआत की गयी थी जो एक सप्ताह में बढ़कर 56 पंचायत हो गयी है। छग में लगभग 10 हजार पंचायत है ,यदि सभी पंचायत इस मॉडल के लिए आगे आते है तो लाखों बच्चों को इसका फायदा मिलेगा।
क्या संभव हो पायेगा
ऑनलाइन पढ़ाई के लिए छग स्कूल शिक्षा विभाग ने पढ़ाई तुंहर दुआर के तहत योजना शुरू की है जिसमे शिक्षकों ने अपना पूरा योगदान दिया है। इसमें भी बहुत सी दिक्क्तें है जैसे -सभी पालकों के पास स्मार्ट मोबाइल फोन नहीं है ,गाओं में नेटवर्क की समस्या और भी बहुत से समस्याएं है।
अब नया मॉडल लाउडस्पीकर से पढ़ाई क्या सभी जगह संभव हो पायेगा ,क्या सभी शिक्षक और पंचायतें इस मॉडल को स्वीकार करेंगे ?? ये आगे आने वाले समय में साफ हो जायेगा।
आज के इस लेख में एक नए और लेटेस्ट जानकरी " अब लाउडस्पीकर से होगी पढ़ाई -गाँव में जाकर पढ़ाएंगे शिक्षक ,,,बस्तर में हुई शुरुआत ,,,पुरे छग में इस मॉडल को लागु करने की तैयारी " के बारे में बताया गया है।
लाउडस्पीकर के माध्यम से पढाई के लिए सभी स्कूलों की सहमति के लिए गूगल फार्म भरवाया जा रहा है। आप नीचे दिए लिंक से अपने स्कूल की जानकरी अपलोड कर सकते है।
फार्म भरने के लिए लिंक
इस मॉडल सम्बन्ध में आपका क्या राय है ? क्या ये पढ़ाई करने के लिए उपयुक्त हो सकता है ? अपनी राय कमेंट बॉक्स में लिखकर जरूर बताएं। और यदि आपके पास पढ़ाई कराने के कोई मॉडल हो तो भी अपनी सुझाव जरूर दें।
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5 Comments
Raipur doordarshan(television) ke madhyam se padha i Karzai Jani chahiye kyonki tv sabhi ghar me uplands hota hai
ReplyDeleteDoordarshan bhi thik rahega ...Right
Deletepdhai के लिए टेलीविजन का माध्यम अपनाना ज्यादा बेहतर रहेगा।
ReplyDeleteTeacher ke bina kuchh bhi behatar nahi ho sakta sir ..
DeleteTeacher ke bina kuchh bhi behatar nahi ho sakta sir ..
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